“सृष्टि की आदि कैसे होगी और आदि पिता कौन हैं?”

मातेश्वरी जी के अनमोल महावाक्य –

मनुष्य पूछते हैं कि परमात्मा ने सृष्टि कैसे रची? आदि में कौनसा मनुष्य रचा, अब उसका नाम रूप समझना चाहते हैं। अब उस पर उन्हों को समझाया जाता है कि परमात्मा ने सृष्टि की आदि ब्रह्मा तन से की है, पहला आदमी ब्रह्मा रचा है। तो जिस परमात्मा ने सृष्टि की आदि की है, तो अवश्य परमात्मा ने भी इस सृष्टि में अपना पार्ट बजाया है।

BK Brahma Baba and Shiv Baba, BK ब्रह्मा बाबा और शिव बाबा
BK Brahma Baba and Shiv Baba, BK ब्रह्मा बाबा और शिव बाबा

अब परमात्मा ने कैसे पार्ट बजाया? पहले तो परमात्मा ने सृष्टि को रचा, उसमें भी पहले ब्रह्मा को रचा, तो गोया पहले ब्रह्मा की आत्मा पवित्र हुई, वही जाकर श्रीकृष्ण बनी, उसी तन द्वारा फिर देवी देवताओं के सृष्टि की स्थापना की। तो दैवी सृष्टि की रचना ब्रह्मा तन द्वारा कराई, तो देवी देवतायें का आदि पिता ठहरा ब्रह्मा, ब्रह्मा सो श्रीकृष्ण बनता है, वही श्रीकृष्ण का फिर अन्त का जन्म ब्रह्मा है। अब ऐसे ही सृष्टि का नियम चलता आता है।

अब वही आत्मा सुख का पार्ट पूरा कर दु:ख के पार्ट में आती है, तो रजो तमो अवस्था पास कर फिर शूद्र से ब्राह्मण बनती है। तो हम हैं ब्रह्मावंशी सो शिववंशी सच्चे ब्राह्मण।

अब ब्रह्मावंशी उसको कहते हैं जो ब्रह्मा के द्वारा अविनाशी ज्ञान लेकर पवित्र बनते हैं।

अच्छा – ओम् शान्ति।

SOURSE: 11-4-2022 प्रात: मुरली ओम् शान्ति ”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन.

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