13-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली, रिवाइज: 10/01/90.
सदा निर्विघ्न वही रह सकता है जो सी फादर, फालो फादर करता है। अब बाप को फालो करते हुए बाप समान संस्कार बनाओ तो संस्कार मिलन की रास करते हुए सदा निर्विघ्न रहेंगे। शान्ति की शक्ति से अथवा शान्त रहने से कितना भी बड़ा विघ्न सहज समाप्त हो जाता...
12-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
संगमयुग पर सभी ब्राह्मण बच्चों को बाप द्वारा खुशी का खजाना मिलता है, इसलिए कुछ भी हो जाए - भल यह शरीर भी चला जाए लेकिन खुशी के खजाने को नहीं छोड़ना। सदा सर्व प्राप्तियों की स्मृति में रहना तो उदासी को तलाक मिल जायेगी। - ॐ शान्ति ...
11-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
सर्व की दुआयें उन्हें मिलती हैं जो स्वयं सन्तुष्ट रहकर सबको सन्तुष्ट करते हैं। जहाँ सन्तुष्टता है वहाँ दुआयें हैं। सिर्फ अमृतवेले से लेकर रात तक दुआयें देने और दुआयें लेने का एक ही कार्य करो तो इसमें सब कुछ आ जायेगा। कोई दु:ख भी दे तो भी आप...
10-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
जैसे स्थूल दुनिया में धूप वा बारिश से बचने के लिए छत्रछाया का आधार लेते हैं, वह है स्थूल छत्रछाया और यह है बाप की छत्रछाया, जो आत्मा को हर समय सेफ रखती है। दिल से बाबा कहा और सेफ। माया के प्रभाव का सेक-मात्र भी नहीं आ सकता।...
9-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
जो बच्चे त्रिकालदर्शी स्थिति में स्थित रहते हैं वह अपनी स्व स्थिति द्वारा हर परिस्थिति को ऐसे पार कर लेते हैं जैसेकि कुछ था ही नहीं। नॉलेजफुल, त्रिकालदर्शी आत्मायें समय प्रमाण हर शक्ति को, हर प्वाइंट को, हर गुण को ऑर्डर से चलाते हैं। जिस समय जो शक्ति, जिस...
8-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
समाने की शक्ति को धारण कर सर्व खजानों से सम्पन्न बन उन्हें स्व के कार्य में अथवा अन्य की सेवा के कार्य में यूज करो। खजानों को यूज करने से अनुभवी मूर्त बनते जायेंगे। सुनना, समाना और समय पर कार्य में लगाना - इसी विधि से अनुभव की अथॉरिटी...
6-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
मात-पिता और सर्व के संबंध में आते हुए दुआओं के खजाने से स्वयं को सम्पन्न करो तो कभी भी पुरूषार्थ में मेहनत नहीं करनी पड़ेगी।कोई भी विघ्न जरा भी स्पर्श नहीं कर सकता, इससे विघ्न प्रूफ बन जायेंगे, युद्ध नहीं करनी पड़ेगी। - ॐ शान्ति। ...
6-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली – रिवाइज: 06/01/90.
ज्ञान रत्नों का खजाना सबसे श्रेष्ठ खजाना है, इस खजाने द्वारा इस समय ही मुक्ति-जीवनमुक्ति की अनुभूति कर सकते हो। अनेक व्यर्थ संकल्पों से, विकल्पों से और विकर्मो से सदा मुक्त रहना - यही मुक्त और जीवनमुक्त अवस्था है। - ॐ शान्ति। ...
5-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
हम कल्प-कल्प की विजयी आत्मा हैं, विजय का तिलक मस्तक पर सदा चमकता रहे तो यह विजय का तिलक औरों को भी खुशी दिलायेगा क्योंकि विजयी आत्मा का चेहरा सदा ही हर्षित रहता है। जब अन्त में किसी के पास सुनने का समय नहीं होगा तब आपका आकर्षण मूर्त...
4-2-2022 -”अव्यक्त-बापदादा” मधुबन मुरली
अपने संस्कार विशेष हैं, बुद्धि विशेष है, गुण विशेष हैं, कलायें विशेष हैं, कोई शक्ति विशेष है - उसका अभिमान अर्थात् अंहकार, नशा, रोब - ये सूक्ष्म देह-अभिमान है। तो यह अभिमान कभी भी आकारी फरिश्ता वा निराकारी बनने नहीं देगा, इसलिए इसके अंश मात्र का भी त्याग करो...